लोकसभा में शनिवार (14 दिसंबर) को नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने केंद्र सरकार पर तीखा हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि जिस तरह एकलव्य का अंगूठा कटा था, उसी तरह आज देश के युवाओं का अंगूठा काटा जा रहा है। राहुल गांधी ने अपने भाषण में सरकार की नीतियों पर सवाल उठाए और देशभर में युवाओं के रोजगार और भविष्य को लेकर गंभीर चिंता जताई।
युवाओं का भविष्य खतरे में
राहुल गांधी ने कहा, “आज हमारे देश में युवाओं के पास न तो रोजगार है, न ही कोई भविष्य की दिशा। सरकार युवाओं से उनकी उम्मीदें और अवसर छीन रही है।” उन्होंने अपने भाषण में महात्मा गांधी और भारतीय संविधान के मूल सिद्धांतों का हवाला देते हुए, भारतीय युवाओं के संघर्ष और उनकी आवाज़ को नजरअंदाज करने का आरोप लगाया। राहुल गांधी ने यह भी कहा कि एकलव्य को अंगूठा काटने की स्थिति में धकेलने के बाद भी उन्होंने कभी हार नहीं मानी, लेकिन आज भारतीय युवाओं के साथ वही स्थिति पैदा की जा रही है।
आर्थिक नीतियों पर निशाना
राहुल गांधी ने सरकार की आर्थिक नीतियों पर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा, “देश की अर्थव्यवस्था में कोई सुधार नहीं हुआ है, और देश के लाखों युवा बेरोजगार हैं। यह सरकार युवाओं की ऊर्जा का सही इस्तेमाल नहीं कर पा रही है।”
संविधान और लोकतंत्र पर भी टिप्पणी
राहुल गांधी ने भारतीय संविधान और लोकतंत्र के मुद्दे पर भी चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा, “देश का संविधान हमें समानता और स्वतंत्रता की गारंटी देता है, लेकिन आज हमें संविधान की मूल भावना को बचाने के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है।”
न्याय का अभाव
राहुल गांधी ने देश में न्याय की स्थिति पर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा, “आज न्याय की प्रक्रिया में ढिलाई आई है और आम नागरिक को न्याय मिलने में कई साल लग जाते हैं। न्याय के इस अभाव में, सरकार अपनी नीतियों के जरिए सिर्फ कुछ ही लोगों के हितों की रक्षा कर रही है।”
राहुल गांधी ने अंत में कहा, “हमारे युवाओं के अधिकारों और उनके भविष्य की रक्षा के लिए हम सब को मिलकर आवाज उठानी होगी, और संविधान की रक्षा करना हमारी जिम्मेदारी बनती है।”
लोकसभा में हुई चर्चा पर त्वरित प्रतिक्रिया
राहुल गांधी का यह बयान लोकसभा में गूंजा और विभिन्न दलों ने इस पर प्रतिक्रिया दी। विपक्षी दलों ने उनका समर्थन किया, जबकि सत्ताधारी दल ने उनके आरोपों का विरोध किया। सरकार ने युवाओं के कल्याण के लिए विभिन्न योजनाओं और योजनाओं की जानकारी दी, लेकिन विपक्ष ने इन योजनाओं की सच्चाई पर सवाल उठाए। राहुल गांधी का यह भाषण लोकसभा में एक महत्वपूर्ण मोड़ साबित हुआ, जिसमें उन्होंने देश के युवाओं और भारतीय संविधान की रक्षा की बात की।